उत्तराखंड में स्थित चार धाम सदियों से तीर्थ यात्रियों के लिए आकर्षण का केंद्र रहे हैं। प्रत्येक वर्ष इन चारों धामों की यात्रा प्रारम्भ करने के लिए तिथि घोषित की जाती है। इन चार धामों की यात्रा पर आने से पूर्व प्रत्येक तीर्थयात्री को रजिस्ट्रेशन कराना होता है। क्या आप जानते हैं कि चार धाम यात्रा के लिए रजिस्ट्रेशन प्रक्रिया क्या है? यदि नहीं तो आज इस पोस्ट हम आपको इस संबंध में जानकारी देंगे और आपको बताएंगे कि आप चार धाम यात्रा के लिए रजिस्ट्रेशन कैसे कर सकते हैं। आइए, शुरू करते हैं-
उत्तराखंड में कौन से चार धाम स्थित है? (Name the char dham situated in Uttarakhand?)
दोस्तों, चार धाम की रजिस्ट्रेशन प्रक्रिया (registration process) के बारे में जानने से पहले आइए, यह जान लेते हैं कि उत्तराखंड में कौन से चार धाम स्थित हैं? दोस्तों, उत्तराखंड में स्थित चार धामों के नाम केदारनाथ (kedarnath), बद्रीनाथ (badrinath), गंगोत्री (gangotri) एवं यमुनोत्री (yamunotri) हैं। आपको बता दें कि प्रत्येक धाम के साथ एक अलग कथा जुड़ी है। जिसकी जानकारी अब हम आपको देंगे। इसे क्रमवार शुरू करते हैं-
केदारनाथ (kedarnath) :
दोस्तों, सबसे पहले केदारनाथ धाम की बात कर लेते हैं। आपको बता दें कि वर्तमान में चारों धामों में सबसे अधिक यात्री केदारनाथ धाम के लिए जाते हैं। आज से करीब 11 वर्ष पूर्व यानी सन् 2013 में केदारनाथ में आई बाढ़-आपदा के पश्चात इस धाम की ओर यात्री विशेष रूप से आकर्षित हुए हैं। और यह संख्या लगातार बढ़ रही है। दोस्तों, भगवान शिव के इस पवित्र तीर्थ स्थल को लेकर कई प्रकार की पौराणिक मान्यताएं एवं कथाएं प्रचलित हैं।
जो सबसे अधिक प्रचलित मान्यता है, उसके अनुसार पांडवों के वंशज राजा जन्मेजय द्वारा इस मंदिर का निर्माण किया गया था। इसके पश्चात आठवीं सदी में आदि शंकराचार्य द्वारा इस मंदिर का पुनरुद्धार किया गया। बहुत से लोग यह मानते हैं कि इस मंदिर का निर्माण राजा भोज द्वारा किया गया। महान घुमक्कड़ माने जाने वाले पंडित राहुल सांकृत्यायन के मुताबिक केदारनाथ मंदिर का निर्माण 12 वीं सदी के आस-पास किया गया।
दोस्तों , यदि आपको नहीं पता तो आपको बता दें कि केदारनाथ मंदिर में भगवान शिव के कूबड़ रूप की पूजा होती है। मित्रों, इस संबंध में प्रचलित एक कथा के अनुसार 18 दिन तक चले महाभारत के घमासान युद्ध के पश्चात पंच पांडव अपने परिजनों की हत्या के दोष से मुक्त होने के लिए भगवान शिव की शरण में जाना चाहते थे, लेकिन व्यथित भगवान शिव उन्हें दर्शन नहीं देना चाहते थे। वे उनसे बचने के लिए बार बार रूप बदल रहे थे।
लेकिन बैल का रूप धारण कर भ्रमण करते वक्त महाबली भीम ने उन्हें पहचान लिया। भीम ने उन्हें पकड़ने की कोशिश की, लेकिन उसी समय वे धरा में समा गए। केवल पूंछ का हिस्सा ही महाबली भीम के हाथ आया। ऐसे में शिव रूपी का बैल कूबड़ धरा के ऊपर रह गया। कहते हैं कि केदारनाथ में इसी कूबड़ की पूजा होती है।
बद्रीनाथ (badrinath) :
दोस्तों, बद्रीनाथ न केवल चार धाम में एक प्रमुख तीर्थ है, बल्कि यह द्वादश ज्योतिर्लिंगों में भी शुमार है। बद्रीनाथ में भगवान विष्णु के ही एक स्वरूप बद्री नारायण की पूजा होती है। बद्रीनाथ मंदिर के भीतर उनकी शालीमार से बनी लगभग एक मीटर की मूर्ति स्थापित है। दोस्तों, यह भी कहा जाता है कि 8वीं सदी में आदि शंकराचार्य द्वारा इस मूर्ति को नारद कुंड से निकालकर यहां स्थापित किया गया था। इस मंदिर का उल्लेख कई प्राचीन ग्रंथों एवं पुराणों में देखा जा सकता है।
गंगोत्री (gangotri) :
दोस्तों, आइए अब गंगोत्री के बारे में जान लेते हैं। आपको बता दें दोस्तों कि चार धामों में से एक गंगोत्री मां गंगा से संबंधित है। कहां जाता है कि मां गंगा ने इसी स्थान पर धरती को स्पर्श किया था। यह भी माना जाता है कि भगवान शिव ने इसी स्थान पर गंगा के विकराल रूप से पृथ्वी की रक्षा करने के लिए उसे अपनी जटाओं में समाहित कर लिया था। वे इसी स्थान पर अपनी जटाओं को फैला कर बैठ गए थे।
दोस्तों , एक अन्य मान्यता के अनुसार भगवान राम के पूर्वज एवं रघुकुल के चक्रवर्ती राजा भगीरथ ने यहां एक शिलाखंड पर बैठकर भगवान शिवशंकर की तपस्या की थी। पांडवों द्वारा महाभारत के युद्ध में मारे गए अपने परिजनों की आत्मिक शांति के लिए यहां देव यज्ञ का अनुष्ठान किए जाने की भी बात कही जाती है। दोस्तों , आपको बता दें कि इस शिलाखंड के ही समीप देवदार व चीड़ के वृक्षों के मध्य गंगा नदी किनारे 18वीं सदी में गोरखा जनरल अमर सिंह थापा द्वारा गंगोत्री मंदिर का निर्माण किया गया था।
यमुनोत्री (yamunotri) :
दोस्तों, अब यमुनोत्री की बात कर लेते हैं। आपको जानकारी दे दें कि वर्तमान यमुनोत्री मंदिर का निर्माण जयपुर की महारानी गुलेरिया द्वारा 19वीं सदी में किया गया था। कहा जाता है कि यमुनोत्री मंदिर का एक हिस्सा एक बार भूकंप से क्षतिग्रस्त हो गया था, जिसके बाद इसका पुर्ननिर्माण कराया गया। यह कार्य टिहरी के राजा प्रताप शाह द्वारा किया गया था। आपको बता दें कि वर्तमान में यमुनोत्री ग्लेशियर से करीब 5 मील नीचे दो तेज जलधाराओं के बीच एक कठोर चट्टान पर यमुनोत्री मंदिर स्थित है। यहां पर भी अन्य धामों की ही भांति एक तप्त जल कुंड भी है।
उत्तराखंड के चारों धामों के कपाट किस-किस दिन खुलेंगे? (On which dates the kapat of Char dham will be opened?)
दोस्तों, यदि आपको नहीं पता है तो आपको बता दें कि उत्तराखंड में स्थित चारों धामों के कपाट कोई एक दिन नहीं खुलते हैं, बल्कि चारों धामों के लिए अलग-अलग तिथि निर्धारित की जाती हैं। मुहूर्त के हिसाब से कई बार यह तिथि एक दिन भी पड़ जाती है। इस बार यानी वर्ष 2024 में चार धाम किस-किस तिथि को खुलेंगे? अब हम आपको इसके बारे में बताएंगे। चार धाम के कपाट खुलने की तिथियां इस प्रकार से हैं-
- केदारनाथ: 10 मई, 2024।
- बद्रीनाथ: 12 मई, 2024।
- गंगोत्री: 10 मई, 2024।
- यमुनोत्री: 10 मई, 2024।
चार धाम यात्रा रजिस्ट्रेशन के लिए किन-किन दस्तावेजों की आवश्यकता होगी? What Documents will be required to get registration for chardham Yatra?)
दोस्तों, यदि आप उत्तराखंड चार धाम यात्रा के लिए जाना चाहते हैं आपको इसके लिए रजिस्ट्रेशन करवाना है तो इसके लिए आपको आपकी पहचान संबंधी दस्तावेजों यानी डॉक्यूमेंट्स (documents) की आवश्यकता होगी, जो कि इस प्रकार से हैं-
* पहचान एवं पते के प्रूफ (proof of identity and address) के तौर पर इनमें से कोई दस्तावेज:-
- आधार कार्ड (aadhar card)।
- वोटर आईडी कार्ड (voter id card)।
- पैन कार्ड (pan card)।
- ड्राइविंग लाइसेंस (driving licence)।
- पासपोर्ट (passport)।
- पासपोर्ट साइज का ताजा फोटोग्राफ (passport size photo)।
- रजिस्टर्ड, सक्रिय एवं वैध मोबाइल नंबर (registered, active and valid mobile number)।
- वैध एवं सक्रिय ई-मेल आईडी (valid and active email id)।
दोस्तों, आपको बता दें कि यात्रा रजिस्ट्रेशन (yatra registration) के लिए आपको ऊपर बताए गए दस्तावेजों में से किसी एक की आवश्यकता होगी। लगे हां यह भी जान लीजिए कि यात्रा ई-पास (Yatra e-pass), यात्रा परमिट (yatra permit) या रजिस्ट्रेशन कार्ड (registration card) के नाम से भी जाना जाता है।
चार धाम यात्रा के लिए कैसे रजिस्ट्रेशन करें? (How to do registration for chardham Yatra?)
दोस्तों, यदि आप अथवा परिजन चार धाम यात्रा पर जाना चाहते हैं तो अब हम आपको बताएंगे कि चार धाम यात्रा के लिए ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन (online registration) की क्या प्रक्रिया (process) है? दोस्तों , आपको बता दें कि यह एक आसान सी प्रकिया है। इसके लिए आपको यह स्टेप्स फॉलो (steps follow) करने होंगे-
- आपको रजिस्ट्रेशन के लिए सबसे पहले https://www.registrationandtouristcare.uk.gov.in पर जाना होगा।
- इसके बाद आपके सामने होमपेज खुल जाएगा।
- यहां आपको सबसे ऊपर चारधाम यात्रा-2024 ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन/लॉग-इन (online registration/login) लिखा दिखाई देगा।
- आपको इस पर क्लिक (click) करना होगा।
- अब sign-up करने के लिए आपको एक फार्म भरना होगा। इसमें आपको पूछी गई सारी जानकारी सही-सही भरनी होगी। जैसे –
- आवेदक का नाम।
- मोबाइल फोन नंबर।
- आवेदक टूर ऑपरेटर/इंडिविजुअल/फैमिली में से कौन है
- राज्य का नाम।
- अब पासवर्ड जनरेट करें। याद रखें कि पासवर्ड कम से कम 6 कैरेक्टर (character) का हो और इसमें अल्फाबेट तथा संख्या (alphabet and numbers) भी शामिल हो।
- अब पासवर्ड कन्फर्म (password confirm) करें।
- इतना करने के बाद आपके मोबाइल नंबर पर एक ओटीपी (OTP) भेजा जाएगा।
- ओटीपी दर्ज करते ही आपका sign-up प्रोसेस पूरा हो जाएगा।
- इसके साथ ही अपने बनाए पासवर्ड, मोबाइल नंबर एवं कैप्चा के सहारे sign-in कर सकेंगे।
- अब आपके सामने डैशबोर्ड (dashboard) खुल जाएगा।
- यहां आपको register for yatra पर क्लिक करना होगा।
- अब आपके सामने एक फॉर्म खुल जाएगा ।
- इसमें आपको यह जानकारी भरनी होगी –
- टूर ड्यूरेशन यानी यात्रा की अवधि। याद रखिए कि यह 15 दिन से अधिक नहीं हो सकती।
- यात्रा करने वालों की संख्या। अधिकतम पांच यात्रियों का एक साथ रजिस्ट्रेशन होगा।
- यात्रा का प्रकार (पैदल/सड़क मार्ग/हेलीकॉप्टर से)
- यात्रा तिथि।
- इसके बाद यदि आपको और यात्री जोड़ने होंगे तो Add pilgrims के विकल्प पर क्लिक करें। यदि नहीं तो छोड़ दें।
इसके पश्चात यह जानकारी भरें –
- यात्री का नाम।
- यात्री की उम्र।
- यात्री का जेंडर।
- यात्री का ई-मेल एड्रेस।
- यात्री का मोबाइल नंबर।
- यदि मोबाइल नंबर ही यात्री का व्हाट्सएप नंबर भी है तो हां करें।
- यात्री का आधार कार्ड नंबर।
- यात्री का पता (देश, राज्य, जिला व शहर समेत)।
- यात्री का इमरजेंसी कांटेक्ट नंबर।
- यदि यात्री डॉक्टर हैं तो हां करें।
- यात्री को डायबिटीज (diabetes), हार्ट (heart), अस्थमा (asthma) आदि की बीमारी हो तो इसका जिक्र करें।
- इसके बाद अपनी पासपोर्ट साइज फोटो अपलोड (passport size photo upload) करें।
- अब अपने आधार कार्ड की कॉपी अपलोड (aadhar card copy upload) करें।
- इसके बाद सारी डिटेल्स चेक कर save and submit पर क्लिक कर दें।
- यह सारी प्रोसेस पूरी हो जाने के बाद आपके मोबाइल नंबर पर आपका यूनिक रजिस्ट्रेशन नंबर एसएमएस कर दिया जाएगा।
- अब आप यहां से अपना रजिस्ट्रेशन कार्ड डाउनलोड कर लें।
- दोस्तों, यदि आप चाहें तो इस लिंक https://registrationandtouristcare.uk.gov.in/signin.php पर क्लिक कर सीधे रजिस्ट्रेशन करा सकते हैं।
क्या व्हाट्सएप के जरिए भी चार धाम यात्रा रजिस्ट्रेशन कराया जा सकता है? यदि हां तो इसकी क्या प्रक्रिया है? (Can a person register for char dham Yatra through WhatsApp too? If yes than what is its process?)
जी हां दोस्तों। आपको बता दें कि यदि आप चाहें तो व्हाट्सएप के जरिए भी चार धाम यात्रा के लिए रजिस्ट्रेशन करा सकते हैं। इसके लिए उत्तराखंड पर्यटन विकास बोर्ड यानी uttarakhand tourism development board द्वारा एक व्हाट्सएप नंबर (WhatsApp number) जारी किया गया है,जो +91-8394833833 है। चार धाम यात्रा के इच्छुक व्यक्ति को व्हाट्सएप के जरिए रजिस्ट्रेशन के लिए इस प्रक्रिया को कदम दर कदम फॉलो करना होगा –
- सबसे पहले व्हाट्सएप ओपन करें।
- यहां 8394833833 नंबर को save कर इसकी व्हाट्सएप चैट खोलें।
- अब यहां yatra टाइप कर दें।
- इसके पश्चात आपसे पूछा जाएगा-chardham information or chardham registration। यहां chardham registration पर क्लिक कर दें।
- अब do you want to registration for chardham? के विकल्प पर क्लिक करें।
- अब number of tourists में अपनी यात्री संख्या पर क्लिक करें। यह अधिकतम 5 ही हो सकती है।
- अब mode of travel में अपने यात्रा माध्यम walking/by road /helicopter में जो सही हो उस पर क्लिक कर दें।
- इसके पश्चात date of travel अंकित करें। यह dd/mm फॉर्मेट में होगी। प्रत्येक धाम के लिए अलग डेट का ऑप्शन मिलेगा। याद रखिए कि हर डेस्टिनेशन डेट में दो दिन का अंतर रखें।
- इसके पश्चात अपना नाम, उम्र एवं जेंडर टाइप करें।
- अब आपको India/outside India में से एक का चयन करना होगा।
- अब अपनी 12 डिजिट की आधार कार्ड संख्या टाइप करें।
- इसके बाद आपके सामने भारत के सभी राज्यों (states) की लिस्ट सीरियल नंबर (serial number) के साथ आ जाएगी। इसमें से अपने राज्य का सीरियल नंबर लिखें।
- यदि आप दूसरे देश से हैं तो आपके सामने देशों (countries) की लिस्ट सीरियल नंबर के साथ खुलेगी। उसमें से चयन करें।
- अब अपने जिले और शहर (district and city) का नाम दर्ज करें।
- इसके बाद आपको इमरजेंसी कांटेक्ट नंबर (emergency contact number) देना होगा। इसमें संबंधित व्यक्ति के नाम एवं फोन नंबर के साथ ही उससे संबंध (relation) लिखना होगा। याद रखिए ये वह व्यक्ति हो, जो यात्रा में आपके साथ में न गया हो।
- इसके बाद दिए गए विकल्पों (cadiac patient/diabetic patient/asthmatic patient/serious medical condition) में से अपनी मेडिकल कंडीशन चुनें। यदि आप दिए गए किसी रोग से ग्रस्त न हों तो No पर क्लिक करें।
- अब अपनी मोबाइल डिवाइस या ब्रोजर (mobile device/browser) से अपनी इमेज अपलोड (image upload) करें।
- इसके बाद दिए गए mode of travel (bus/minibus/private car/taxi-maxi//two wheeler/helicopter/walking) में से अपना विकल्प चुनें और व्हीकल नंबर (vehicle number) दर्ज करें। यदि यह लागू न हो तो No पर क्लिक करें।
- अब आपसे पूछा जाएगा कि क्या आप और यात्री add यानी जोड़ना चाहते हैं? यदि yes तो संबंधित यात्रियों की डिटेल्स (details) दें अन्यथा No पर क्लिक कर दें।
- इसके बाद आपसे पूछा जाएगा कि क्या अपना रजिस्ट्रेशन कंफर्म (registration confirm) करना चाहते हैं? यहां पर yes पर क्लिक कर दें।
- इस तरह से आपका रजिस्ट्रेशन पूरा हो जाएगा और आपका रजिस्ट्रेशन लेटर (registration letter) जनरेट हो जाएगा।
क्या चार धाम यात्रा के लिए कोई मोबाइल एप भी बनाया गया है? (Has any mobile app for char dham Yatra been made?)
दोस्तों, आपको बता दें कि उत्तराखंड यात्रा पर जाने के लिए रजिस्ट्रेशन को उत्तराखंड पर्यटन विकास बोर्ड (Uttarakhand tourism development board) द्वारा एक मोबाइल एप (mobile app) भी बनाया गया है। इस मोबाइल ऐप का नाम टूरिस्टकेयरउत्तराखंड (touristcareuttarakhand) है। एंड्रॉयड यूजर्स (Android users) इसे गूगल प्ले स्टोर (Google play store) से डाउनलोड (download) कर सकते हैं। जबकि आईफोन यूजर (iPhone users) इसे एप स्टोर (App Store) से डाउनलोड (download) कर सकते हैं।
क्या यात्रा के बारे में अधिक जानकारी के लिए सरकार द्वारा को टोल फ्री नंबर भी जारी किया गया है? (Has there been any toll free number issued by the government to get more information about char dham Yatra?)
दोस्तों, आपको बता दें कि उत्तराखंड सरकार द्वारा यात्रियों की मदद के लिए एक टोल फ्री नंबर (toll free number) 1364 एवं 01353520100 भी जारी किया गया है। इस चार धाम यात्रा के बारे में अधिक जानकारी आप 0135-2559898 या 0135-2532627 फोन नंबरों पर संपर्क करके भी ले सकते हैं। यदि आप ईमेल (email) से चार धाम यात्रा के संबंध में जानकारी लेना चाहते हैं तो उत्तराखंड सरकार (uttarakhand government) द्वारा एक ईमेल एड्रेस (email address) जारी किया गया है, जो कि touristcare.uttarakhand@gmail.com है।
चार धाम यात्रा के लिए हेलीकॉप्टर टिकट बुकिंग कहां से की जा सकती है? (From where one can book helicopter tickets for chardham Yatra?)
मित्रों, यदि आप पैदल नहीं चल सकते और घोड़े -खच्चर पर यात्रा करने से भी बचना चाहते हैं तो आप चार धाम यात्रा के लिए समर्पित हेलीकॉप्टर सेवा (helicopter service) का लाभ उठा सकते हैं। इसके लिए आपको टिकट बुकिंग (ticket booking) करानी होगी। आपको बता दें कि चार धाम हेलीकॉप्टर यात्रा के लिए टिकट बुकिंग हेतु अधिकृत पोर्टल (official portal) बनाया गया है। इसका एड्रेस www.heliyatra.irctc.co.in है।
यदि कोई अन्य वेबसाइट या व्यक्ति हेलीकॉप्टर टिकट का दावा करता है तो वह गलत होगा। आपको इस संबंध में विशेष सावधानी बरतनी होगी। दोस्तों, एक और बात नोट कर लें कि केदारनाथ के लिए हेलीकॉप्टर सेवाओं की बुकिंग फिलहाल 10 मई, 2024 से लेकर 20 जून, 2024 तक के लिए खुली है। इसके बाद मानसून के पश्चात 15 सितंबर, 2024 से लेकर 31 अक्टूबर, 2024 तक केदारनाथ के लिए हेलीकॉप्टर सेवाओं की बुकिंग खोली जाएगी।
केदारनाथ यात्रा के लिए हेलीकॉप्टर सेवा कहां-कहां से संचालित होगी? और इसका किराया कितना होगा? (From where the helicopter services will be operated for kedarnath and how much it will cost?)
दोस्तों, आइए अब आपको केदारनाथ जाने के लिए हेलीकॉप्टर सर्विसेज की विस्तार से जानकारी दे दें। आपको बता दें कि इस बार केदारनाथ के लिए गुप्तकाशी (guptakashi), फाटा (fata) और सिरसी (sirsi) से हेलीकाप्टर सेवाएं ऑपरेट की जाएंगी। केदारनाथ के तीन हेलीपैड के माध्यम से कुल नौ हेली कंपनियों को संचालन की अनुमति दी गई है।
गुप्तकाशी से दो हेली कंपनियों आर्यन एविएशन (Aryan aviation) एवं ट्रांस भारत एविएशन (Trans Bharat aviation) द्वारा यात्रियों को हेलीकॉप्टर से केदारनाथ भेजा जाएगा। इस सेवा का किराया ₹ 8,426 रखा गया है। सिरसी से तीन हेली कंपनियां हिमालयन हेली सर्विसेज (Himalayan heli services), कैस्ट्रल एविएशन (Kestrel aviation) और ऐरो एयरक्राफ्ट्स (Arrow aircrafts) यात्रियों को केदार बाबा के द्वारा तक पहुंचाएंगी।
इन कंपनियों की हेली सेवा का किराया ₹ 6,072 रुपए रखा गया है। फाटा से केदारनाथ के लिए सबसे ज्यादा हेली कंपनियां सेवा देंगी। इनमें पवन हंस (Pawan Hans), थंबी एविएशंस (Thumby aviation), ग्लोबल वेक्ट्रा हेलीक्रॉप (global vectra helicrop) और ट्रांस भारत एविएशन शामिल हैं। इस सेवा के लिए यात्रियों को ₹ 6074 चुकाने होंगे।
दोस्तों, आपको बता दें कि यह हेलीकॉप्टर की राउंड ट्रिप (round trip) का किराया है। आप यह भी जान लीजिए कि इन हेलीकॉप्टर सेवाओं के संचालन के लिए नोडल एजेंसी उत्तराखंड सिविल एविएशन डेवलपमेंट अथॉरिटी (uttarakhand civil aviation development authority) यानी यूकाडा (UCADA) है।
यूकाडा के द्वारा ही केदारनाथ तक हेली सेवा के लिए टिकटों की ऑनलाइन बुकिंग (online booking) का जिम्मा आईआरसीटीसी (IRCTC) यानी इंडियन रेलवे कैटरिंग एंड टूरिज्म कॉरपोरेशन (Indian railways catering and tourism corporation) को सौंपा गया है। दोस्तों, यदि इन हेली सेवाओं के लिए आप किसी प्रकार की सहायता चाहते हैं तो आईआरसीटीसी (IRCTC ) के हेल्पलाइन नंबर (helpline number) 1800 110139 07556698100 या फिर 0755 4090 400 पर संपर्क कर सकते हैं।
केदारनाथ धाम के लिए हेली सेवा की बुकिंग को किन बातों का ध्यान रखना होगा? (What things should be kept in mind while booking for Heli services for Kedarnath dham?)
दोस्तों, यदि आप केदारनाथ हेलीकॉप्टर के जरिए जाने के इच्छुक है तो हेली बुकिंग कराने से पहले कुछ चीजें आवश्यक रूप से जान लें, जो कि इस प्रकार से हैं-
- हेली सेवा के लिए एक आईडी पर अधिकतम 6 यात्रियों के लिए ही टिकट बुक हो सकेगा।
- दो वर्ष से अधिक उम्र के बच्चे के लिए पूरा टिकट लेना पड़ेगा।
- 2 वर्ष से कम उम्र बच्चे का टिकट नहीं लगेगा, लेकिन उसका वजन किसी एक अभिभावक के साथ जोड़ा जाएगा।
- यदि वजन 80 किलो के पार है तो फिर प्रति किलो डेढ़ सौ रुपए का अतिरिक्त चार्ज देना होगा।
- हेली सेवा बुकिंग पर डायनेमिक प्राइस लागू होंगे।
उत्तराखंड सरकार द्वारा चार धाम यात्रा के लिए क्या महत्वपूर्ण निर्देश जारी किए गए हैं? (What important structures has been issued by Uttarakhand Government for chardham Yatra?)
मित्रों, यदि आप चार धाम यात्रा पर आ रहे हैं तो इसके लिए उत्तराखंड सरकार द्वारा कुछ निर्देश जारी किए गए हैं, जिनका पालन करना आवश्यक होगा। ये इस प्रकार से हैं-
- चार धाम यात्रा से पूर्व रजिस्ट्रेशन कराना आवश्यक होगा।
- रजिस्ट्रेशन में सही मोबाइल नंबर दर्ज करना होगा।
- यात्रा करते समय रजिस्ट्रेशन कार्ड और अपनी पहचान एवं पते का ऑरिजिनल प्रूफ अपने पास अवश्य रखें
- सभी धर्मस्थलों पर दर्शन टोकन अवश्य प्राप्त करना होगा।
- यात्रियों का अपने साथ पर्याप्त गर्म कपड़े रखने होंगे।
- यदि कोई यात्री दवा लेता है तो उसे प्रचुर मात्रा में इसका स्टॉक साथ रखना पड़ेगा।
- यात्रा मार्ग पर जलवायु अनुकूल होने के लिए पहाड़ों पर विश्राम करते हुए यात्रा की जाएगी तो बेहतर रहेगा।
- यदि कोई यात्री अस्वस्थ महसूस कर रहा है तो वह यात्रा न करे। हेलीकॉप्टर टिकट प्रदान करने का दावा करने वाले अनधिकृत व्यक्तियों से दूर रहें।
- यदि कोई धर्मों पर दर्शन कराने का दावा करता है तो ऐसे अनाधिकृत व्यक्तियों से बचें।
- यात्रा मार्गों पर गंदगी ना फैलाएं वाहनों को उचित स्थान पर पार्क करें।
- पहाड़ों पर चलते हुए वाहनों की स्पीड कंट्रोल में रखें।
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उत्तराखंड में कौन से चार धाम स्थित है?
उत्तराखंड में केदारनाथ, बद्रीनाथ, गंगोत्री एवं यमुनोत्री चार धाम स्थित है।
चार धाम यात्रा के लिए रजिस्ट्रेशन कब से शुरू होंगे?
चार धाम यात्रा के लिए रजिस्ट्रेशन 15 अप्रैल, 2024 से प्रारंभ हो गए हैं।
चार धाम यात्रा के लिए रजिस्ट्रेशन कराने की क्या प्रक्रिया है?
इस प्रक्रिया की पूरी जानकारी हमने आपको स्टेप बाय स्टेप ऊपर पोस्ट में दी है। आप वहां से देख सकते हैं।
उत्तराखंड में चार धाम के कपाट कब खुलेंगे?
उत्तराखंड में बद्रीनाथ के कपाट 12 मई , 2024 को खुलेंगे, जबकि बाकी तीनों धाम केदारनाथ, गंगोत्री, एवं यमुनोत्री के कपाट 10 मई, 2024 को खुलेंगे।
चार धाम यात्रा के लिए रजिस्ट्रेशन को आधिकारिक वेबसाइट का क्या एड्रेस है?
इस वेबसाइट का एड्रेस https://www.registrationandtouristcare.uk.gov.in है।
क्या चार धाम यात्रा के लिए उत्तराखंड सरकार द्वारा कोई मोबाइल एप भी बनाया गया है?
जी हां। इसके लिए उत्तराखंड सरकार द्वारा touristcareuttarakhand नाम का मोबाइल एप बनाया गया है।
क्या चार धाम यात्रा के लिए व्हाट्सएप के जरिए भी रजिस्ट्रेशन कराया जा सकता है?
जी हां। इस यात्रा के लिए व्हाट्सएप से भी रजिस्ट्रेशन कराया जा सकता है। इसके लिए व्हाट्सएप नंबर 8394833833 जारी किया गया है।
व्हाट्सएप के जरिए चार धाम यात्रा रजिस्ट्रेशन की क्या प्रक्रिया है?
इस प्रक्रिया की स्टेप बाय स्टेप जानकारी हमने आपको ऊपर पोस्ट में दी है। आप वहां से देख सकते हैं।
चार धाम यात्रा रजिस्ट्रेशन के लिए डायरेक्ट लिंक क्या है?
इसके लिए आप https://registrationandtouristcare.uk.gov.in/signin.php पर क्लिक कर सकते हैं।
इस मोबाइल एप को कहां से डाउनलोड किया जा सकता है?
इस मोबाइल एप को एंड्रॉयड यूजर्स Google play store से, जबकि आईफोन यूजर्स App Store से डाउनलोड कर सकते हैं।
केदारनाथ यात्रा के लिए हेलीकॉप्टर टिकट बुकिंग की कौन सी वेबसाइट है?
केदारनाथ यात्रा के लिए हेलीकॉप्टर टिकट की बुकिंग www.heliyatra.irctc.co.in वेबसाइट से की जा सकती है।
आईआरसीटीसी की हेली सेवा संबंधी हेल्पलाइन का क्या नंबर है?
आईआरसीटीसी की इस हेल्पलाइन का नंबर 1800110 139 है।
हेली सेवा के लिए एक आईडी पर कितने यात्रियों के लिए टिकट बुक किए जा सकते हैं?
हेली सेवा के लिए एक आईडी पर अधिकतम छह यात्रियों के लिए टिकट बुक किए जा सकते हैं।
केदारनाथ के लिए कितनी उम्र तक के बच्चों को हेलीकॉप्टर में टिकट से छूट है?
केदारनाथ के लिए हेलीकॉप्टर में 2 वर्ष से अधिक उम्र के बच्चे का टिकट लगेगा।
यदि बच्चा 2 वर्ष से कम उम्र का है तो हेली सेवा के लिए उस पर क्या प्रतिबंध लागू होगा?
ऐसे में संबंधित बच्चे का वजन उसके किसी एक अभिभावक के साथ जोड़ा जाएगा। यदि यह वजन 80 किलो से ज्यादा होता है तो प्रति किलो डेढ़ सौ रुपए वसूले जाएंगे।
दोस्तों, इस पोस्ट (post) में हमने आपको विस्तार से बताया कि चार धाम यात्रा के लिए रजिस्ट्रेशन कैसे करें? व्हाट्सएप के जरिए रजिस्ट्रेशन की क्या प्रक्रिया है? रजिस्ट्रेशन के लिए आवश्यक दस्तावेज, हेलीकॉप्टर सेवा का ब्योरा आदि। यदि आप चार धाम यात्रा करना चाहते हैं तो इस पोस्ट से बताए गए तरीके से आसानी से रजिस्ट्रेशन करा सकते हैं। जागरूकता के मद्देनजर इस पोस्ट को अधिक से अधिक शेयर करना न भूलें।।धन्यवाद।।